सुल्तानपुर,यूपी..
@सरफराज अहमद #NOW NATION LIVE..............
सुल्तानपुर जिले के अखंड नगर क्षेत्र में स्थित कलान चौराहे पर एक ऐतिहासिक और उत्साहपूर्ण दृश्य देखने को मिला, जब हजारों की संख्या में भाजपा कार्यकर्ता और स्थानीय नागरिक ऑपरेशन सिंदूर की सफलता के उपलक्ष्य में तिरंगा शोभायात्रा में शामिल हुए। यह शोभायात्रा, जो कलान ग्रुप ऑफ इंस्टीट्यूट के निकट से शुरू हुई, न केवल राष्ट्रीय गौरव का प्रतीक बनी, बल्कि देश की एकता, अखंडता और समरसता को भी प्रदर्शित करती रही।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के आह्वान पर आयोजित इस तिरंगा शोभायात्रा में बैंड-बाजों की धुन पर राष्ट्रीय ध्वज तिरंगा लहराते हुए नागरिकों ने भारत माता की जय और वंदे मातरम के नारे लगाए। इस यात्रा का नेतृत्व करने वाले प्रमुख व्यक्तियों में कलान ग्रुप ऑफ इंस्टीट्यूट के प्रबंध निदेशक डॉ. वेद प्रकाश सिंह, जिन्हें स्थानीय लोग प्यार से राजू भैया कहते हैं, ने इसे राष्ट्रीय एकता और समरसता का प्रतीक बताया।
ऑपरेशन सिंदूर और इसका महत्व,ऑपरेशन सिंदूर, भारतीय सेना की एक ऐतिहासिक उपलब्धि
कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकी हमले के जवाब में पाकिस्तान के आतंकी ठिकानों को ध्वस्त करने का एक सफल अभियान था। इस अभियान ने न केवल देश की सैन्य ताकत को दुनिया के सामने प्रदर्शित किया, बल्कि आतंकवाद के खिलाफ भारत की दृढ़ नीति को भी रेखांकित किया। इस सफलता के सम्मान में पूरे देश में तिरंगा यात्राएं आयोजित की जा रही हैं, और सुल्तानपुर का यह आयोजन उसी कड़ी का हिस्सा था।
तिरंगा शोभायात्रा का भव्य आयोजन..
कलान चौराहे से शुरू हुई यह शोभायात्रा पूरे अखंड नगर में उत्साह और जोश के साथ आगे बढ़ी। सैकड़ों लोग, जिनमें युवा, महिलाएं, बच्चे और बुजुर्ग शामिल थे, तिरंगे को हाथों में थामे हुए देशभक्ति के नारे लगाते हुए चल रहे थे। बैंड-बाजों की मधुर धुनों ने इस आयोजन को और भी जीवंत बना दिया। स्थानीय पुलिस प्रशासन, विशेष रूप से अखंड नगर थाना अध्यक्ष महेंद्र सिंह की मौजूदगी में, सुरक्षा बलों ने यात्रा को सुरक्षित और व्यवस्थित रूप से संपन्न कराने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई।यात्रा का समापन बेलवाई के शिव मंदिर में हुआ, जहां भव्य पूजा-अर्चना का आयोजन किया गया। इस अवसर पर उपस्थित लोगों ने भारतीय सेना के शौर्य और पराक्रम को सलाम किया। डॉ. वेद प्रकाश सिंह ने अपने संबोधन में कहा, "यह तिरंगा शोभायात्रा न केवल ऑपरेशन सिंदूर की सफलता का उत्सव है, बल्कि यह हमारी राष्ट्रीय एकता और अखंडता का भी प्रतीक है। यह यात्रा हमारे सैनिकों के बलिदान और देशभक्ति को सम्मान देने का एक प्रयास है।"